काली मिर्च की खेती तथा प्रमुख प्रजातियाँ।

परिचय:- काली मिर्च(पाईपर) एक बहुवर्षीय आरोही बेल है। इसके फल को मसाला तथा औषधि के रूप में उपयोग किया जाता है। भारत विश्व में काली मिर्च का प्रमुख उत्पादक, उपभोक्ता एवं निर्यातक देशों में से एक है। भारत में काली मिर्च की खेती मुख्य रूप से केरल, कर्नाटक तथा तमिलनाडू राज्यों में होती है। भारत […]

मिर्ची की खेती तथा मसालों के रूप में प्रयोग।

कैप्सिकम मिर्ची का उपयोग, सब्जी, चटनी, अँचार आदी के रूप में भी किया जाता है तथा इसके विभिन्न प्रकार है। जिसे जानने के लिए आप हमारे पिछले पोस्ट को पढ़ सकते हैं। आज हम बात करेंगे उन भारतीय मिर्ची के किस्मों की जो प्रमुख मसाले के रूप में प्रयोग किये जाते हैं। परिचय:- भारतीय मिर्च […]

नींबू की खेती, किस्में, जलवायु एवं मिट्टी।

परिचय:- नींबू, लाईम अथवा लेमन की खेती उष्णकटिबंधीय तथा उप-उष्णकटिबंधीय क्षेत्रों में व्यापारिक रूप से की जाती है। जहाँ इस जाति में नींबू तीसरा मुख्य फसल है। नींबू के उत्पादन में भारत का स्थान विश्व में 5वाँ है। वहीं एसिड लाईम के उत्पादन में भारत का स्थान पहला है। इसका उत्पादन लगभग भारत के सभी […]

ओल(सूरन) की खेती तथा व्यापारिक लाभ।

परिचय:- भारत में ओल की खेती औषधीय फसल के रूप में की जाती है। इसे जिमीकंद या सूरन के नाम से भी जाना जाता है। हमारे घरों में इसकी सब्जी और चटनी के रूप में इसका इस्तेमाल किया जाता है। ओल में कार्बोहाइड्रेट, खनिज, कैल्शियम, फॉस्फोरस समेत अनेक तत्व पाए जाते है। आयुर्वेदिक दवाओं के […]

रेशम के कीटों का पालन, परिचय तथा व्यापार।

परिचय:- कच्चा रेशम के लिए रेशम के कीटों का पालन किया जाता है इसे सेरीकल्चर कहते है। इसके वस्त्र रानी के नाम से विख्यात है इसे विलासिता, मनोहरता, विशिष्टता एवं आराम का सूचक माना जाता है। रेशमकीट जिसे इल्ली कहते हैं, के द्वारा निकाले जाने वाले एक प्रोटीन से बना होता है। ये विशेष पौधों […]

पपीता की वैज्ञानिक खेती एवं व्यापारिक महत्व।

परिचय:- पपीते का फल गोलाकार तथा लंबा होता है। इसके गुद्दे पीले तथा गुद्दों के मध्य काले बीज होते हैं। यह एक सदाबहार मधुर फल है, पपीता स्वादिष्ट और रुचिकर होने के साथ स्वास्थ्य के लिए भी उपयोगी है। यह हमारे देश में सभी जगह उत्पन्न होता है। वृक्ष के ऊपरी हिस्से में पत्तों के […]

मधुमक्खी पालन तथा विभिन्न ऋतुओं में प्रबंधन।

परिचय:- मधुमक्खीयाँ मोन समुदाय में रहने वाली कीटें हैं। मधुमक्खी एक जंगली जीव है इन्हें इनकी आदतों के अनुकूल कृत्रिम ग्रह (हईव) में पाला जाता है। उसी हइव में उनकी वृधि करने तथा शहद एवं मोम आदि प्राप्त करने की तकनीक विकसित की गई है। कृषि लघु व्यवसाय से बड़े व्यवसाय में बदलती जा रही […]

नारियल की खेती, पौध रोपण तथा व्यापारिक महत्व।

परिचय:- नारियल एक आराध्य फल होने के साथ-साथ दैनिक जीवन में भी अत्यंत उपयोगी है। भारत में इसके संस्कृतिक महत्व के साथ-साथ आर्थिक महत्व भी है। इसे भारत के छोटे किसानों का जीवन जुड़ा हुआ है। इस वृक्ष का हर हिस्सा उपयोगी है। नारियल का कच्चा फल पक जाने पे खाद्य एवं तेल के लिए […]

मेंथा की व्यापारीक खेती एवं बुआई का समय।

परिचय:- मेंथा एक औषधीय गुणों से भरपूर वनस्पति है। इसकी उपलब्धता तथा इसके फायदे को देखते हुए पिछले कुछ वर्षों से मेंथा जायद की प्रमुख फसल के रूप में अपना स्थान बना रही है। इसके तेल का उपयोग सुगन्ध व औषधि बनाने में किया जाता है। भूमि:- मेंथा की अच्छी खेती के लिए जीवांश युक्त अच्छी […]

जेट्रोफा (रतनज्योत) की व्यापारिक खेती, एवं उन्नत किस्में।

परिचय:- जेट्रोफा (रत्नज्योत) के तेल का इस्तेमाल ईंधन, औषधि, जैविक खाद, रंग बनाने में किया जाता है। इसके भूमि सूधार, भूमि कटाव को रोकने में, खेत की मेड़ों पर बाड़ के रूप में महत्व है। यह बदलते परिदृश्य में रोजगार की संभावनाओं को बढ़ानें में उपयोगी साबित हुआ है। यह बायो-डीजल का स्रोत है जिसमें […]

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